राजधानी गैरसैंण आंदोलन एक सिद्धांतिक लड़ाई के रूप में खड़ा हुआ : मनोज ध्यानी
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देहरादून: गैरसैंण राजधानी निर्माण अभियान के बैनर तले पूर्णकालिक राजधानी गैरसैंण बने की मांग को लेकर संघर्ष स्थल, परेड ग्राउंड, देहरादून में चल रहा धरना आज 60 वें दिन में प्रवेश कर गया। इस मौके पर उत्तराखंड राज्य निर्माण हेतु जंतर-मंतर पर चले आंदोलन में बडी भूमिका निभाने वाले संगठन उत्तराखंड जनता संघर्ष मोर्चा के पूर्व अध्यक्ष रहे खुशहाल सिंह बिष्ट ने अभियानकर्मियों को संबोधित करते हुए कहा कि राज्य के राजनीतिक दलों ने गैरसैंण को पूर्णकालिक राजधानी न बनाकर प्रदेश के आंदोलनकारियों का मखौल उड़ाया है। उन्होंने कहा कि बहुत शीघ्र ही देश की राजधानी से प्रमुख प्रवासी संगठन गैरसैंण राजधानी निर्माण अभियान का हिस्सा बन जाएंगे, तथा गैरसैंण अभियानकर्मियों को साधुवाद दिया कि उन्होंने मुद्दे पर बहस को पुनः मुख्य पटल पर ला खड़ा किया है।
रामपुर तिराहा और श्रीयंत्र टापू आंदोलन के राज्य आंदोलनकारी और गैरसैंण राजधानी अभियानकर्मी मनोज ध्यानी ने कहा कि विगत 60 दिनों में गैरसैंण आंदोलन एक सिद्धांतिक लड़ाई के रूप में खड़ा हुआ है और बड़ी ईमानदारी से आगे बढ़ रहा है और विश्वास जताया कि आंदोलन मुख्य लक्ष्य को 6 माह के भीतर राज्य अवधारणा के लक्षित लक्ष्यों को भी प्राप्त करेगा।
राज्य निर्माण आंदोलन में छः बरस तक जंतर-मंतर पर धरना देने वाले आंदोलनकारी और प्रखर गैरसैंण अभियानकर्मी लक्षमी प्रसाद थपलियाल ने इस अवसर पर कहा कि गैरसैंण आंदोलन के लिए कोई भी शहादत क्यों न देनी पड़े, वह दी जाएगी। उन्होंने गैरसैंण अभियानकर्मियों के ऊंचे मनोबल की सराहना करते हुए कहा कि हम राज्य की नई दिशा सृजित करेंगे और गैरसैंण राजधानी लक्ष्य प्राप्त करेंगे।
बैठक को गैरसैंण अभियानकर्मी मदनसिंह भंडारी, सुभाष रतूडी, हर्ष मैंदोली आदि ने भी संबोधित किया। आज गैरसैण राजधानी निर्माण अभियान के 60वाँ दिवस के धरना कार्यक्रम में उपस्थिति करने व कार्यक्रम को समर्थन देने वालों में खुशहाल सिंह बिष्ट, मनोज ध्यानी, लक्ष्मी प्रसाद थपलियाल, मदनसिंह भंडारी, इं. ए.डी.नौटियाल, इं. आनंदप्रकाश जुयाल, हर्ष मैंदोली, सुभाष रतूडी, नीरज गौड़, किरण किशोर सिंह, एन.एन.भट्ट, सोहन सिंह रावत, जे. एन. बहुगुणा, संजय सिंह गुसांई, देवेन्द्र सिंह, संजय किमोठी, ज्योत्सना असवाल, हरीश मैखुरी आदि सम्मिलित रहे।